शिक्षा का सागर, मेरा मन तैर नहीं पा रहा
शिक्षा का सागर, मेरा मन तैर नहीं पा रहा
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यह गति का सफ़र है। और इस इस राह पर हमारे सामने दुनिया भर का मौका है। परन्तु यह सुविधा मुझे अक्सर तोड़ देता। मैं शब्दों की लहरों में तैरना नहीं जानता। {मेरी आँखें भटकती हैं|मुझे नींद आ रही है और मन मे {एक अंधेरा छाया हुआ है|एक घमंड है।
किताबों के पन्नों से, हृदय का गम
एक किताब खोलते ही हमारे सामने नई दुनिया खुलती है। उसकी कहानी हमें अपनी ओर आकर्षित करती है और हम उसमें खो जाते हैं। लेकिन कभी-कभी, उन लेखों के बीच में ही हमारे हृदय में उलझनें पैदा हो जाती हैं।
सपनों का एक ऐसा मेल होता है जो हमें खुद से पूछने पर मजबूर करता है - क्या यह सच है? या बस एक मानसिक दुनिया है?
यह उलझनें कभी-कभी आपको खुशी देती हैं, तो कभी ग़म। लेकिन ये हमें जिंदगी के रहस्यों को समझने में मदद करती हैं।
ज्ञान प्राप्ति में स्थिरता, मन की ध्वनि नजर नहीं आ रही
यह दिलचस्प है कि जब हम पढ़ाई करते हैं तो हमारा दिमाग़ खुले विचारों से भरा रहता है । यह ऐसा है जैसे हमारे मन की आवाज दूरी परमौन हो जाती है। हम पढ़ते हैं, लेकिन हमारा मन नहीं जुड़ता।
जीवन का सफ़र, पढ़ाई की राह पर अड़चन
यह एक लंबी यात्रा है, जिसे हम नाम से. इसके साथ हम कई मुश्किलें check here का सामना करते हैं. कभी-कभी पढ़ाई की यह यात्रा इतनी बदतर हो जाती है कि उसमें से थकावट महसूस होती है.
यहाँ तक कि हम हाथ ना माँटे,
तो हम फल पाते हैं. समय का पड़ताल हमें यह सिखाता है कि जीवन में हर बाधा एक आगे बढ़ने का रास्ता होती है.
शिक्षण का चक्र , मेरी सोच से दूर
यह कुछ समय पर होता है कि मैं अध्यापन के विधि को देखकर आश्चर्यचकित हो जाता हूँ। मेरा मन इसे सुधारने की ओर ले जाता है, परन्तु यह दिलचस्प तरीके से काम करता है। जैसे कि, उसकी सोच मेरे विचारों से बहुत दूर है।
यह {परिणामआश्चर्यजनक हो सकता है। यह हमें एक अलग सोच के बारे में सिखाता है, जो जीवन में बहुत महत्वपूर्ण है।
मस्तिष्क भटका हुआ , सीख के द्वार बंद है
जब मन भटकता है तो सीख का मार्ग बंद हो जाता है। जैसे ही आंखें किसी और ओर देखना शुरू कर देती हैं, उस क्षण ज्ञान की यात्रा में बाधा आ जाती है। पढ़ाई लेने के लिए जरूरी है कि मन एकाग्र रहे। जब मन भटकता है तो सीख का सफ़र धीमा हो जाता है और हम अपने लक्ष्यों को हासिल करने से पछाड़ते हैं| दूर रह जाते हैं।
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